प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सेबी द्वारा जारी निवेश ट्रस्ट के दिशा-निर्देशों के अनुसार आधारभूत संरचना निवेश ट्रस्ट (आईएनवीआईटी) बनाने और राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं के मुद्रीकरण के लिए भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) को अधिकृत करने के प्रस्ताव को अपनी मंजूरी दे दी है। इससे एनएचएआई कम से कम एक वर्ष के टोल संग्रह रिकार्ड वाले सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के पूरे किए गए राजमार्गों का मुद्रीकरण कर सकेगा। एनएचएआई चिन्हित राजमार्ग पर टोल लगाने का अधिकार सुरक्षित रखता है।
प्रभाव :
आईएनवीआईटी साधन के रूप में निवेशकों को अधिक लचीलता प्रदान करता है और यह निम्नलिखित अवसर प्रदान कर सकता है :
· विशेषज्ञ ओ तथा एम रियायत प्राप्तकर्ता बनाना
· भारतीय उच्च मार्ग बाजार के लिए पेटेंट पूंजी (20 -30 वर्षों के लिए) आकर्षित करना क्योंकि निवेशक निर्माण जोखिम को नापसंद करते हैं और दीर्घकालिक लाभ प्रदान करने वाली परिसंपत्तियों में निवेश करने में दिलचस्पी रखते हैं।
· खुदरा घरेलू बचत तथा विशेष संस्थानों (म्युचुअल फंड, पीएफआरडीए आदि) के धन कोष को आईएनवीआईटी के माध्यम से आधारभूत संरचना क्षेत्र में निवेश किया जाएगा।
पृष्ठभूमि :
सड़कें और राजमार्ग अर्थव्यवस्था की जीवन रेखा हैं और दूर-दराज के इलाकों को जोड़ते हैं। राजमार्ग क्षेत्रीय तथा संपूर्ण भारत के आधार पर सक्षम परिवहन व्यवस्था सुनिश्चि करते हैं। राष्ट्रीय राजमार्गो के विकास से व्यापार में मदद मिलती है और क्षेत्र के संपूर्ण आर्थिक विकास में वृद्धि होती है।
भारत सरकार ने अक्टूबर, 2017 में भारतमाला परियोजना लॉन्च की। भारत माला परियोजना 5,35,000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ 24,800 किलोमीटर सड़कों के विकास का अग्रणी उच्च मार्ग विकास कार्यक्रम है। भारतमाला कार्यक्रम की विशालता को देखते हुए एनएचएआई को निर्धारित समयसीमा के अंदर परियोजनाएं पूरी करने के लिए पर्याप्त धन की आवश्यकता होगी।
इसके लिए कार्ययोग्य विकल्प पूरे किए गए और संचालनरत राष्ट्रीय राजमार्गों का मुद्रीकरण है ताकि राजमार्गों का सही मूल्य प्राप्त किया जा सके और राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण में निजी क्षेत्र के लिए आकर्षक योजनाओं की पेशकश की जा सके।
क्रियान्वयन :
सीमित धन संसाधन वाले एनएचएआई जैसे संगठनों के लिए नए और अभिनव वित्तीय उपाय करना आवश्यक है। वर्ष 2018-19 के अपने बजट भाषण में तत्कालीन वित्त मंत्री ने कहा था कि एनएचएआई ने अपनी सड़क संपत्तियों को स्पेशल पर्पज व्हिकल के रूप में संगठित करने पर विचार कर सकता है तथा टोल संचालन और हस्तांतरण मॉडल, आधारभूत संरचना ट्रस्टों (आईएनवीआईटीएस) जैस अभिनव मुद्रीकरण ढांचे का इस्तेमाल कर सकता है।
अनुभव के आधार पर एनएचएआई पूरे किए गए तथा संचालनरत राष्ट्रीय राजमार्ग के मुद्रीकरण के लिए निवेश ट्रस्ट बनाने की दिशा में सक्रिय है। इसका उद्देश्य पूंजी बाजार के माध्यम से अतिरिक्त संसाधनों को जुटाना है।
एनएचएआई का निवेश ट्रस्ट (आईएनवीआईटी) भारतीय ट्रस्ट अधिनियम 1882 तथा भारतीय प्रतिभूति तथा विनिमय बोर्ड (आधारभूत संरचना ट्रस्ट) के विनियम, 2014 के अंतर्गत स्थापित किया जाएगा। ट्रस्ट का उद्देश्य आधारभूत परियोजनाओं (वित्त मंत्रालय द्वारा परिभाषित) में मुख्य रूप से निवेश करना है। आईएनवीआईटी प्रत्यक्ष रूप से या एसपीवी और या शेयर पूंजी के माध्यम से संपत्ति का स्वामित्व रख सकता है।