अहमदाबाद:
पश्चिम रेलवे ने आजादी के अमृत महोत्सव के तत्वावधान में मनाए जा रहे ‘आजादी की रेल गाड़ी और स्टेशन’ सप्ताह के हिस्से के रूप में साबरमती स्टेशन पर एक प्रदर्शनी का आयोजन किया है। इस दो दिवसीय प्रदर्शनी का उद्घाटन 22 जुलाई, 2022 को अहमदाबाद मंडल के मंडल रेल प्रबंधक श्री तरुण जैन द्वारा किया गया और इसे जनता के अवलोकनार्थ खोला गया। इसी तरह, चल रहे आयोजनों के हिस्से के रूप में पश्चिम रेलवे के डिवीजनों द्वारा कई अन्य कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है।
पश्चिम रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी श्री सुमित ठाकुर द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार साबरमती में प्रदर्शनी ‘आजादी की रेल गाड़ी और स्टेशन’ की थीम पर आधारित है। प्रदर्शनी में महात्मा गांधी के जीवन की यात्रा को दर्शाने वाली विभिन्न यादगार तस्वीरों के साथ-साथ पश्चिम रेलवे के अभिलेखागार से दुर्लभ तस्वीरें प्रदर्शित की गई हैं। इसमें पिछले कुछ वर्षों में पश्चिम रेलवे द्वारा प्रमुख उपलब्धियों को दर्शाया गया है और इसकी भविष्य की परियोजनाओं पर भी प्रकाश डाला गया है, जो रेल यात्रा के अनुभव को फिर से परिभाषित करेंगी। प्रदर्शनी में इंफोटेनमेंट आधारित इंटरएक्टिव वीडियो वॉल स्क्रीन तथा सेल्फी पॉइंट भी जिनमें गांधीजी और सरदार वल्लभभाई पटेल की स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का चित्र और चरखा की प्रतिकृति जो कि साबरमती आश्रम से जुड़ा एक प्रसिद्ध प्रतीक है, शामिल हैं।
श्री ठाकुर ने बताया कि ‘आजादी की रेल गाड़ी और स्टेशन’ के मद्देनजर अहमदाबाद, वडोदरा, भावनगर और मुंबई सेंट्रल डिवीजनों द्वारा साबरमती, अडास रोड, पोरबंदर, बारडोली और नवसारी स्टेशनों पर विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। इन स्टेशनों को तिरंगे से सजाया और रोशन किया गया है। लोगों को देश के इतिहास से अवगत कराने के लिए इन स्टेशनों पर स्वतंत्रता संग्राम पर लघु फिल्में डिजिटल स्क्रीन पर प्रदर्शित की जा रही हैं। इन स्टेशनों पर देशभक्ति गीत, नुक्कड़ नाटक और लाइट-साउंड शो का आयोजन किया गया है। इन रेलवे स्टेशनों के ऐतिहासिक महत्व के बारे में यात्रियों में जागरूकता पैदा करने के लिए, पश्चिम रेलवे ने स्वतंत्रता संग्राम के साथ इनके महत्व पर प्रकाश डालते हुए प्रत्येक स्टेशन पर बैनर और स्टैंडी प्रदर्शित किए हैं। साथ ही, इन स्टेशनों पर प्रमुख स्थानों पर सेल्फी पॉइंट लगाए गए हैं ताकि कार्यक्रम में जनता भी शामिल हो सकें और इस महत्वपूर्ण उत्सव में युवाओं की भागीदारी सुनिश्चित की जा सके। पुरानी यादों वाली तस्वीरों वाली फोटो वॉल यात्रियों के बीच सेल्फी लेने और इसकी पृष्ठभूमि में तस्वीरें लेने के लिए काफी लोकप्रिय हो गई है। इन प्रतिष्ठित स्टेशनों पर स्वतंत्रता सेनानियों और उनके परिवारों को आमंत्रित किया गया और सम्मानित किया गया। उनकी गाथा को फिर से जीना और सुनना दिल को छू लेने वाला था, क्योंकि उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम की महिमा का वर्णन किया। तीन प्रतिष्ठित ट्रेनों अर्थात अहिंसा एक्सप्रेस, साबरमती एक्सप्रेस और गुजरात मेल को अहमदाबाद डिवीजन में स्वतंत्रता सेनानियों के रिश्तेदारों द्वारा हरी झंडी दिखाई गई, जबकि दो और प्रतिष्ठित ट्रेनों अर्थात लोकशक्ति और बांद्रा टर्मिनस-सूरत इंटरसिटी एक्सप्रेस को स्वतंत्रता सेनानियों और उनके रिश्तेदारों ने मुंबई सेंट्रल डिवीजन में हरी झंडी दिखाई। इन ट्रेनों की आकर्षक साज-सज्जा की गई थी। अहमदाबाद मंडल के मंडल रेल प्रबंधक ने 96 वर्षीय स्वतंत्रता सेनानी श्री नंदलाल शाह और 99 वर्षीय श्री ईश्वर लाल दवे से भेंट कर उनका अभिनंदन किया। इन्होंने स्वतंत्रता संग्राम में भाग लिया था और जेल की सजा भी काट चुके हैं। वडोदरा स्टेशन पर, एक अन्य स्वतंत्रता सेनानी श्रीमती हीराबेन वेद, जिनकी आयु 96 वर्ष है, को सम्मानित किया गया। वह साबरमती आश्रम में गांधीजी की देखभाल करने वालों में से एक थीं। श्रीमती हीराबेन वेद ने श्री गट्टूभाई एन व्यास, (99 वर्षीय सेवानिवृत्त रेलवे कर्मचारी) के साथ खूबसूरती से सजाई गई संकल्प एक्सप्रेस को झंडी दिखाकर रवाना किया, जो इस अवसर पर पूरी तरह से अलंकृत थी। पोरबंदर स्टेशन पर रंगोली, नुक्कड़ नाटक, गरबा, देशभक्ति गीत आदि जैसे विभिन्न कार्यक्रम बड़ी धूमधाम और उत्साह के साथ आयोजित किए गए।
आजादी का अमृत महोत्सव आजादी के 75 साल और देश के लोगों, संस्कृति और उपलब्धियों के गौरवशाली इतिहास का जश्न मनाने के लिए भारत सरकार की एक पहल है। आजादी के अमृत महोत्सव के तत्वावधान में 18 से 23 जुलाई, 2022 तक भारतीय रेलवे द्वारा ‘आजादी की रेल गाड़ी और स्टेशन’ का आईकॉनिक सप्ताह मनाया जा रहा है। इस पहल के तहत, 75 स्टेशनों पर सप्ताह भर चलने वाले समारोह आयोजित किए जा रहे हैं और 27 ट्रेनों को हाइलाइट किया जा रहा है जो भारत के स्वतंत्रता संग्राम के गौरवशाली इतिहास से जुड़ी हैं और महत्वपूर्ण स्थानों और घटनाओं को चिह्नित करती हैं। 5 स्टेशनों और 10 चिह्नित ट्रेनों के नामांकन के साथ, पश्चिम रेलवे इस आईकॉनिक सप्ताह के उत्सव में जनभागीदारी और जन आंदोलन की समग्र भावना के साथ भाग ले रही है।